प्रशांत किशोर की आवाज इस सड़े हुए तंत्र के खिलाफ जनता के गुस्से की आवाज बन रही है

- Reporter 12
- 28 Sep, 2025
मोहम्मद आलम
बिहार का हर आदमी जानता है कि इस राज्य को किसने बर्बाद किया है। थाने से लेकर अंचल,अनुमंडल से जिला और जिला से लेकर मंत्रिमंडल तक—हर जगह भ्रष्टाचार की दुकानें खुली हैं। नेता और अफसर मलाई खा रहे हैं, और गरीब जनता भूखी-प्यासी खड़ी है।यह बयान किसी आम कार्यकर्ता का नहीं, बल्कि जनसुराज अभियान के सूत्रधार प्रशांत किशोर का है। PK ने साफ कह दिया है कि नीतीश कुमार का सुशासन अब सिर्फ एक धोखा है। उन्होंने नाम लेकर कहा—“अशोक चौधरी हों या सम्राट चौधरी, मंगल पांडेय हों या दिलीप जायसवाल सब एक ही थाली के चट्टे-बट्टे हैं। जनता की गाढ़ी कमाई की मलाई यही लोग चाट रहे हैं।”
PK का कटाक्ष सीधा जनता के दिल में उतरता है। वह कहते हैं:
आज बिहार का कोई दफ्तर ऐसा नहीं है जहाँ बिना घूस दिए काम हो जाए।आज हर योजना अफसरों और नेताओं की जेब भरने का जरिया बन गई है।आज जनता त्राहिमाम कर रही है और ये लोग सत्ता की गद्दी पर मौज मना रहे हैं।PK की चुनौती भी साफ है—“अगर नीतीश कुमार और उनकी टोली में हिम्मत है, तो जनता के सामने आकर बताएं कि घोटालों और घूसखोरी में डूबे उनके मंत्री और अफसरों पर कार्रवाई क्यों नहीं होती? क्यों हर बार जनता को सिर्फ जुमले और खोखले वादे मिलते हैं?”
बिहार की जनता अब समझ चुकी है कि सुशासन का नारा सिर्फ छलावा था। सच यह है कि भ्रष्टाचार की मलाईखोरी ने पूरे सिस्टम को खोखला कर दिया है। PK की आवाज़ इस सड़े हुए तंत्र के खिलाफ जनता के गुस्से की आवाज़ बन रही है।और सवाल वही है—क्या जनता अब भी चुप रहेगी? या फिर उठकर इस भ्रष्ट तंत्र को उखाड़ फेंकेगी?
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